पूरे बिहार में हरिजन नाम से चलने वाले स्कूलों के नाम बदले जाएंगे। यह काम पंद्रह दिनों के भीतर हो जाएगा। इसके लिए सभी संबंधित अधिकारियों को पत्र भेजा गया है।
- मुख्य बातें
पंद्रह दिनों के भीतर बदले जाएंगें नाम - हरिजन को हटाकर अनुसूचित जाति जुड़ेगा नाम में
- 15 दिनों में भेजनी होगी रिपोर्ट
पटना, देशज न्यूज। जिस विद्यालय के भी नाम में हरिजन शब्द जुड़ा है,उसका नाम 15 दिन में बदलकर अनुसूचित जाति करना है। पत्र में कहा गया है, ऐसे प्राथमिक एवं मध्य विद्यालय जिनके नाम में हरिजन शब्द जुड़ा था उनके नाम से हरिजन शब्द को हटाते हुए अनुसूचित जाति शब्द स्थाई रूप से प्रतिस्थापित करने का पहले ही निर्देश दिया गया था, लेकिन इस पर कार्रवाई नहीं हुई।
प्राथमिक शिक्षा निदेशक अरविंद कुमार वर्मा (बेगूसराय के वर्तमान डीएम) की ओर से पिछले साल भी सामाजिक न्याय व अधिकारिता मंत्रालय भारत सरकार के अवर सचिव ने नौ अक्टूबर 2017 को जारी पत्र के आधार पर इस संबंध में आदेश दिया था, लेकिन किसी भी स्कूल के नाम से न तो हरिजन शब्द हटा और ना ही उसकी जगह अनुसूचित जाति शब्द जोड़ा गया। इसलिए एक बार फिर आदेश जारी करते हुए 15 दिनों के अंदर नाम बदलकर अनुपालन प्रतिवेदन भेजने का आदेश दिया गया है।प्राथमिक शिक्षा निदेशक डॉ रणजीत कुमार सिंह ने जिला शिक्षा पदाधिकारी व जिला कार्यक्रम पदाधिकारी बेगूसराय को आदेश दिया है। साथ ही कहा है, पूरे बिहार में यह बदलाव होना है।
सरकार का मानना है,अनुसूचित जाति शब्द अजा व अजजा समुदाय की सामाजिक भावनाओं, मानविक मर्यादा व प्रतिष्ठा के प्रति सम्मान व्यक्त करने वाला है। सामाजिक स्तर पर हरिजन व गिरिजन शब्द को वर्जित माना गया है और वह समुदाय विशेष को संबोधन के प्रतिकूल माना गया है। ऐसी स्थिति में स्कूल नाम में इन दोनों शब्दों के स्थान पर स्थायी रूप से अनुसूचित जाति जोड़ा जाएगा।
सरकार का मानना है,अनुसूचित जाति शब्द अजा व अजजा समुदाय की सामाजिक भावनाओं, मानविक मर्यादा व प्रतिष्ठा के प्रति सम्मान व्यक्त करने वाला है। सामाजिक स्तर पर हरिजन व गिरिजन शब्द को वर्जित माना गया है और वह समुदाय विशेष को संबोधन के प्रतिकूल माना गया है। ऐसी स्थिति में स्कूल नाम में इन दोनों शब्दों के स्थान पर स्थायी रूप से अनुसूचित जाति जोड़ा जाएगा।