बिरौल। एडीएम विभूति रंजन चौधरी ने बुधवार को बिरौल अंचल कार्यालय का निरीक्षण किया। इस दौरान उन्होंने लोक शिकायत से संबंधित मामलों की समीक्षा की तो पाया कि पीजीआरओ के आदेश दिए जाने के बाद भी अंचल कार्यालय में लंबित चल रहा है।
इसका निष्पादन जल्द करने का आदेश प्रधान लिपिक को देते हुए समीक्षा के दौरान एडीएम श्री चौधरी ने पाया कि जिस जमीन का सीओ की ओर से दाखिल खारिज की प्रक्रिया पूरी करने के बाद भी दर्जनों ऐसे रैयत हैं जिन्होंने उससे संबंधित राशि सरकारी खजाने में जमा नहीं किया है।जिसके कारण दाखिल खारिज लंबित है।
जांच पदाधिकारी ने भूमि से संबंधित संचिकाओं का अवलोकन करने उपरांत अंचल कार्यालय मे प्राप्त आवेदन मे फिफो सिस्टम का उपयोग हमेशा करने का निर्देश कर्मचारियों को दिया। यानी जिनका आवेदन पहले प्राप्त होता है उनका काम पहले करने की नसीहत दी। साथ ही लंबित मामलों का निष्पादन करने मे किसी प्रकार की स्थिरता नहीं बरतने का निर्देश दिये।
एडीएम विभूति रंजन चौधरी ने बताया कि बिरौल अंचल के विभिन्न हल्का में राजस्व मद् मे अब तक 20 लाख रुपए की वसूली की जा चुकी है। उन्होंने बताया कि वाद संख्या 742/20-21 के घुरन यादव,2514/2021 के सुशीला देवी सहित कई वैसे रैयत हैं जिनके भूमि का अंचलाधिकारी स्तर से दाखिल खारिज कर दिए जाने के बावजूद निर्धारित राशि जमा नहीं किया गया है। इसके कारण वैसे रैयतों को सरकार द्वारा मिलने वाली लाभ से बंचित रहना पड़ेगा। इसके लिए एडीएम श्री चौधरी के उन रैयतों को दाखिल खारिज से संबंधित राशि सरकारी खजाने में जल्द जमा करने की अपील की।
फोटो। एडीएम विभूति रंजन चौधरी।